UP Nagar Nikay Chunav 2022: यूपी नगर निकाय चुनाव को लेकर मंगलवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया है. जिसके बाद राज्य में निकाय चुनाव का रास्ता साफ हो गया है. कोर्ट ने अपने फैसले में साफ तौर पर कहा है कि राज्य में इस बार निकाय चुनाव बिना ओबीसी आरक्षण के होगा. इस मामले में हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने फैसला सुनाया है.
निकाय चुनावों में ओबीसी आरक्षण पर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने फैसला मंगलवार को सुना दिया है. हालांकि इस दौरान कोर्ट ने राज्य सराकर को झटका देते हुए ड्राफ्ट नोटिफिकेशन को खारिज कर दिया है. वहीं कोर्ट ने बिना ओबीसी आरक्षण के ही राज्य में चुनाव कराने का फैसला सुनाया है. इससे पहले हाई कोर्ट ने पिछली सुनवाई के दौरान अपना फैसला सुरक्षित रखा था. जिसके बाद कोर्ट द्वारा मंगलवार को सुनवाई की अगली तारीख तय की गई थी.
बिना ओबीसी आरक्षण के हो सकता है चुनाव
कोर्ट ने कहा कि चुनाव में ओबीसी आरक्षण ट्रिपल टेस्ट के आधार पर दिया जाएगा. ट्रिपल टेस्ट के बिना कोई ओबीसी आरक्षण नहीं हो सकता है. यह निर्णय न्यायमूर्ति देवेंद्र कुमार उपाध्याय और न्यायमूर्ति सौरभ लवानिया की खंडपीठ ने इस मुद्दे पर दाखिल 93 याचिकाओं पर एक साथ पारित करते हुए दिया है. जिसके बाद माना जा रहा है कि अब इसपर मुख्य फैसला सरकार और आयोग के हाथ में है.
कोर्ट ने अपने फैसले में सरकार को तुरंत चुनाव कराने का निर्देश दिया है. हालांकि कोर्ट ने एससी और एसटी आरक्षक के साथ चुनाव कराने की बात कही है. कोर्ट के इस फैसले के बाद अब ओबीसी आरक्षण वाली सभी सीटें सामान्य होंगी. अब कोर्ट के इस फैसले के बाद संभावना है कि जनवरी में चुनाव हो सकता है. हालांकि अगर राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट नहीं जाती है, तब ही ऐसा संभव होगा.
UP Nagar Nikay Chunav 2022: यूपी नगर निकाय चुनाव को लेकर मंगलवार को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने अपना फैसला सुना दिया है. जिसके बाद राज्य में निकाय चुनाव का रास्ता साफ हो गया है. कोर्ट ने अपने फैसले में साफ तौर पर कहा है कि राज्य में इस बार निकाय चुनाव बिना ओबीसी आरक्षण के होगा. इस मामले में हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने फैसला सुनाया है.
निकाय चुनावों में ओबीसी आरक्षण पर इलाहाबाद हाई कोर्ट ने फैसला मंगलवार को सुना दिया है. हालांकि इस दौरान कोर्ट ने राज्य सराकर को झटका देते हुए ड्राफ्ट नोटिफिकेशन को खारिज कर दिया है. वहीं कोर्ट ने बिना ओबीसी आरक्षण के ही राज्य में चुनाव कराने का फैसला सुनाया है. इससे पहले हाई कोर्ट ने पिछली सुनवाई के दौरान अपना फैसला सुरक्षित रखा था. जिसके बाद कोर्ट द्वारा मंगलवार को सुनवाई की अगली तारीख तय की गई थी.
बिना ओबीसी आरक्षण के हो सकता है चुनाव
कोर्ट ने कहा कि चुनाव में ओबीसी आरक्षण ट्रिपल टेस्ट के आधार पर दिया जाएगा. ट्रिपल टेस्ट के बिना कोई ओबीसी आरक्षण नहीं हो सकता है. यह निर्णय न्यायमूर्ति देवेंद्र कुमार उपाध्याय और न्यायमूर्ति सौरभ लवानिया की खंडपीठ ने इस मुद्दे पर दाखिल 93 याचिकाओं पर एक साथ पारित करते हुए दिया है. जिसके बाद माना जा रहा है कि अब इसपर मुख्य फैसला सरकार और आयोग के हाथ में है.
कोर्ट ने अपने फैसले में सरकार को तुरंत चुनाव कराने का निर्देश दिया है. हालांकि कोर्ट ने एससी और एसटी आरक्षक के साथ चुनाव कराने की बात कही है. कोर्ट के इस फैसले के बाद अब ओबीसी आरक्षण वाली सभी सीटें सामान्य होंगी. अब कोर्ट के इस फैसले के बाद संभावना है कि जनवरी में चुनाव हो सकता है. हालांकि अगर राज्य सरकार सुप्रीम कोर्ट नहीं जाती है, तब ही ऐसा संभव होगा.